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संतरे को कहा जाता है सुपरफूड, सेवन से मिलते हैं ये गजब के फायदे, दूर होगी कई बीमारियां

फलों का सेवन करना सेहत के लिए फायदेमंद रहता है जिसमें से एक हैं संतरा जिसे सुपरफूड कहा जाता है। विटामिन सी से भरपूर संतरे में विटामिन ए, विटामिन बी, आयोडीन, कैल्शियम और मिनरल्स जैसे कई पोषक तत्व पाए जाते हैं जो सेहत को फायदा पहुंचाने का काम करते हैं। ऐसे में हर व्यक्ति को सुबह के नाश्ते में एक संतरा जरूर शामिल करना चाहिए। अपनी डाइट में सिर्फ एक संतरा शामिल करने से आपको कई फायदे मिलते हैं। संतरा सेहत से लेकर त्वचा तक सभी के लिए फायदेमंद है। हम आपको इसके बारे में बताने जा रहे हैं कि किस तरह संतरे का सेवन सेहत को फायदे पहुंचाता हैं। आइये जानते हैं इसके फायदों के बारे में…

इम्यूनिटी बूस्ट होती है
रोग प्रतिरक्षा प्रणाली हमारे शरीर को बीमार और कमजोर करने वाले बैक्टीरिया और वायरस से बचाती है। यहां संतरा आपकी मदद कर सकता है, क्योंकि संतरा विटामिन सी जैसे जरूरी पोषक तत्वों से समृद्ध होता है, जो प्रतिरक्षा प्रणाली को मजबूत करने का काम करता है। रोजाना संतरा खाने से शरीर की इम्यूनिटी मजबूत होती है। इससे सर्दी जुकाम और अन्य संक्रमण को रोकने में मदद मिलती है। संतरे में भरपूर मात्रा में विटामिन सी होता है जिससे शरीर की इम्यूनिटी बूस्ट होती है।

कैंसर से बचाव
विटामिन सी से भरपूर संतरे में मौजूद एंटी ऑक्सीडेंट और लाइमोनिन गुण मुक्त कणों के नुकसान से कोशिकाओं की रक्षा करते हैं। लाइमोनिन हमारे शरीर में लगभग 8-10 घंटे तक सक्रिय रह सकता है, जो कैंसर कोशिकाओं को फैलने से रोकता है। संतरे का नियमित सेवन त्वचा, छाती, फेफड़ों, मुंह, पेट आदि के कैंसर को रोकने में मदद करता है। संतरा खाने से गैस्ट्रिक अल्सर को रोकने में भी मदद मिलती है। संतरे में मौजूद पेक्टिन फाइबर कैंसर से श्लेष्मा झिल्ली की रक्षा करता है।

दिल के मरीजों के लिए है फायदेमंद
इसके अलावा संतरे में ऐसे एंटीऑक्सीडेंट होते हैं जो कोलेस्ट्रॉल के स्तर और रक्तचाप को कम करने में मदद करते हैं। संतरा फाइबर और पेक्टिन से भी भरपूर है जो कि शरीर के वसा के अवशोषण को धीमा करते हैं, जिससे कोलेस्ट्रॉल का स्तर कम होता है। संतरे में पाया जाने वाला मिनरल मैग्नीशियम भी रक्त वाहिकाओं को लचीला बनाए रखने में मदद करता है। यह दिल के मरीजों के लिए फायदेमंद है।

पथरी को बढऩे से रोके
संतरे में पाया जाने वाला सिट्रिक एसिड मूत्र विकारों और गुर्दे के रोगों को दूर करने में मदद करता है। नियमित रूप से संतरे का सेवन करने से यूरिन के जरिए सिट्रिक एसिड के उत्सर्जन से ‘पीएच बैलेंस’ के स्तर में सुधार होता है, जिसकी वजह से गुर्दे से कैल्शियम को बाहर निकालने में मदद मिलती है और गुर्दे की पथरी के विकास का जोखिम कम हो जाता है।

ब्लड प्रेशर कंट्रोल करने में मदद
बीपी के मरीजों को रोजाना संतरे का सेवन करना चाहिए। संतरे में फ्लेवोनोइड्स व पेक्टिन जैसे आवश्यक तत्व पाए जाते हैं, जो रक्तचाप को नियंत्रित करने में सहायक हो सकते हैं। संतरे का सेवन करने से ब्लड प्रेशर का स्तर कंट्रोल करने में मदद मिलती है।

एनीमिया
संतरे के अंदर आयरन और विटामिन सी की अच्छी मात्रा होती है। संतरे का सेवन आयरन की कमी से होने वाले एनीमिया को दूर करने में सहायक हो सकता है। दरअसल, संतरा में आयरन की कम मात्रा होती है लेकिन विटामिन सी भरपूर मात्रा में मौजूद होता है और विटामिन सी शरीर में आयरन के अवशोषण को बढ़ाने में सहायक हो सकता है। ऐसे में इस स्थिति में संतरे के सेवन से एनीमिया की समस्या से बचाव हो सकता है।

दिमाग होता है मजबूत
संतरे में विटामिन सी होता है। सुबह अपने नाश्ते में सिर्फ एक संतरा शामिल करने से व्यक्ति की इम्यूनिटी स्ट्रांग होती है। संतरा में बैक्टीरिया और वायरल संक्रमण से लडऩे की शक्ति होती है। संतरे से वाइट ब्लड सेल्स को बढऩे में मदद मिलती हैं। सुबह नाश्ते में एक संतरा खाने से दिमाग का विकास होता है और याददाश्त मजबूत होती है। संतरे में पाए जाने वाले फ्लेवोनॉयड एंटीऑक्सिडेंट्स हिप्पोकैम्पस दिमाग की नसों को मजबूत करते हैं।

गठिया में फायदेमंद
गठिया के मरीजों के लिए संतरे का सेवन फायदेमंद होता है। यह शरीर में मौजूद यूरिक एसिड को कम करने में मदद करता है। रोजाना संतरे का सेवन करने से जोड़ों में सूजन और गठिया के रोग से राहत मिलती है।

कोलेस्ट्रॉल करे कम
संतरा शरीर में कोलेस्ट्रॉल को कम करने में मदद करता है क्योंकि इसमें फाइबर होता है। साथ ही इसमें पाया जाने वाला ‘पॉलीमेथॉक्सिलेटेड फ्लेवोनोइड्स’ कोलेस्ट्रॉल को ज्यादा प्रभावी तरीके से कम करता है। माना जाता है कि संतरे का यह गुण कोलेस्ट्रॉल को कम करने वाली दवाओं से भी ज्यादा असरदार होता है।

प्रसव पीड़ा करे कम
गर्भावस्था में वैसे तो हर प्रकार का फल लाभदायक ही होता है, पपीते को छोडक़र। वहीं, विटामिन सी से भरपूर संतरा खाने से शिशु के साथ ही मां की आंखें व त्वचा स्वस्थ रहती हैं। इससे दांतों को लाभ मिलता है। गर्भावस्था के दौरान महिला के दांत कमजोर हो जाते हैं, लेकिन संतरे का सेवन उन्हें कमजोर होने से बचाता है। इन सभी से बढक़र संतरे के सेवन से प्रसव पीड़ा में आराम मिलता है। जी हां, गर्भावस्था के दौरान नियमित संतरे का सेवन करने वाली महिलाओं को अपेक्षाकृत कम पीड़ा का सामना करना पड़ता है।

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